भागलपुर के ट्रैफिक डीएसपी ने पिस्टल के बल पर बुजुर्ग से घर लिखवाने का किया प्रयास, पटना में केस दर्ज

पटना के कदमकुआं थाने में एक बड़ा मामला सामने आया है. मिली जानकारी के अनुसार भागलपुर के ट्रैफिक डीएसपी आशीष कुमार समेत चार लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है. जिनपर आरोप है कि कदमकुआं इलाके में रहने वाले व्यवहार न्यायालय के सेवानिवृत्त कर्मी 69 वर्षीय विजय कुमार से पिस्टल के बल पर ट्रैफिक डीएसपी आशीष कुमार और उनके सहयोगियों ने घर अपने नाम कराने का प्रयास किया है.

कदमकुआं थाने में दर्ज है मामला

इन पुलिसकर्मियों पर आरोप है कि जब पीड़ित ने ऐसा नहीं किया तो उनसे मारपीट करके उन्हें धमकी देते हुए सभी चले गये. इस संबंध में कोर्ट के आदेश के बाद कदमकुआं थाने में भागलपुर के ट्रैफिक डीएसपी आशीष कुमार, साधना कुमारी, अनीता सिंह और रौनक प्रताप सिंह के खिलाफ केस दर्ज कर लिया गया है.

ALSO READ: Bihar Weather: भागलपुर-पूर्णिया में अगले तीन दिनों का मौसम जानिए, आसपास के जिलों में भी कैसी रहेगी ठंड?

भागलपुर के ट्रैफिक डीएसपी पर आरोप

पीड़ित विजय कुमार ने आरोप लगाया है कि नौ सितंबर, 2024 को शाम करीब पांच बजे मैं अपने बीमार पुत्र के साथ बैठा था. मेरी पत्नी बीमार बेटे को खाना खिला रही थी. उसी वक्त भागलपुर के ट्रैफिक डीएसपी आशीष कुमार, कुंदन सिंह, अनीता सिंह और अन्य लोग आये और घर में घुस गये. वे मुझे व मेरी पत्नी को घेर लिया और मारपीट करने लगे.

पिस्टल के बल पर करवाया साइन

पीड़ित ने आरोप लगाया कि मारपीट के उन्हें धमकाते हुए पिस्टल के बल पर उनसे 1000 रुपये के स्टांप पेपर पर हस्ताक्षर करवा लिये. कदमकुंआ के थानेदार राजीव कुमार ने बताया कि कोर्ट कंप्लेन था. प्राथमिकी दर्ज की गयी है. छानबीन चल रही है.

साधना को घर नहीं लिखा, तो बर्बाद कर देंगे…

विजय कुमार ने बताया कि उनलोगों ने बहुत पीटा. मैंने उसी दिन इसकी सूचना थाने में दी, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई. दूसरे दिन भी दोपहर 12 बजे अनीता कुमारी, अंशु कुमारी, कुंदन कुमार, रौनक कुमार, अभय प्रताप सिंह और कदमकुआं थाने के तीन पुलिसकर्मी वर्दी में आये. एक के बैज पर अमित कुमार लिखा था. सभी ने दोबारा धमकाते हुए कहा कि अगर साधना कुमारी को तुम लोगों ने अपना घर नहीं लिखा, तो तुम लोगों को बर्बाद कर दिया जायेगा.

घसीटते हुए थाने ले गये पुलिसकर्मी, वहां भी बनाया दबाव

विजय कुमार ने बताया कि पुलिसकर्मी अमित कुमार जबरन हमें थाने पर ले आये और वहां भी दबाव बनाया गया. जलील किया गया. उन्होंने बताया कि मुझे थाने में बहुत मानसिक और शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया गया. बार-बार यही कहा गया कि अगर अच्छे से घर साधना कुमारी के नाम नहीं किया, तो न घर रहेगा और न तुम लोग.

मुझ पर लगे आरोप बेबुनियाद : आशीष

भागलपुर के ट्रैफिक डीएसपी आशीष कुमार सिंह ने कहा कि साधना मेरे ममेरे भाई की बेटी है. 20 साल पहले विजय के बेटे बिजेंद्र से उसकी शादी हुई थी. बिजेंद्र गंभीर रूप से बीमार है. नौ सितंबर को साधना को पीटा गया था. मैं दोनों को समझाने गया था. आरोप बेबुनियाद हैं.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *